जब किसी समझौते पर विचार या उद्देश्य भारतीय संविदा अधिनियम, 1872 के तहत आंशिक रूप से गैरकानूनी है, तो समझौता है:

  1. शून्य
  2. शून्यकरणीय
  3. आंशिक रूप से शून्य और आंशिक रूप से शून्यकरणीय
  4. प्रवर्तनीय

Answer (Detailed Solution Below)

Option 1 : शून्य

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सही उत्तर विकल्प 1 है।

Key Pointsभारतीय  अनुबंध  अधिनियम की धारा 24 कहती है कि यदि विचार और वस्तुएँ आंशिक रूप से गैरकानूनी हैं, तो समझौता शून्य है। — यदि एक या अधिक वस्तुओं के लिए एकल प्रतिफल का कोई भी भाग, या एक ही वस्तु के लिए कई प्रतिफलों में से किसी एक या किसी एक भाग को अवैध माना जाता है। गैरकानूनी, समझौता शून्य है। — यदि एक या अधिक उद्देश्यों के लिए एकल प्रतिफल का कोई भाग, या किसी एक वस्तु के लिए अनेक प्रतिफलों में से किसी एक का कोई भाग, गैरकानूनी है, तो समझौता शून्य है।"

उदाहरण A, B की ओर से इंडिगो के कानूनी निर्माता और अन्य वस्तुओं में अवैध यातायात साधन की देखरेख करने का वादा करता है। B, A को प्रति वर्ष 10,000 रुपये का वेतन देने का वादा करता है। समझौता शून्य है, A के वादे का उद्देश्य, और B के वादे पर विचार, आंशिक रूप से गैरकानूनी है। A, B की ओर से, इंडिगो के कानूनी निर्माता और अन्य वस्तुओं में अवैध यातायात की देखरेख करने का वादा करता है। B, A को प्रति वर्ष 10,000 रुपये का वेतन देने का वादा करता है। समझौता शून्य है, A के वादे का उद्देश्य, और B के वादे पर विचार, आंशिक रूप से गैरकानूनी है।"

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